ICRC के प्रमुख कार्यक्षेत्रों में से एक अंतर्राष्‍ट्रीय मानवतावादी कानून व इसका क्रियान्‍वयन इससे जुड़े अनेक हितधारकों के साथ समन्‍वयन स्‍थापित करके प्रोत्‍साहित करना है जिसमें सैन्य व पुलिस बल शामिल हैं। इसमें मानवतावादी सरोकारों से जुड़ी समस्‍याओं की पहचान करने तथा उनका विश्‍लेषण करने के साथ-साथ लागू कानून के स्‍पष्‍टीकरण के लिए विशेषज्ञों के साथ विचार-विमर्श करना शामिल है। दक्षिण एशिया में, ICRC की सशस्‍त्र बलों तथा पुलिस अधिकारियों के लिए आयोजित रीजनल वर्कशॉप (सुरक्षा संचालन में सेना) एक अनूठे दृष्टिकोण वाले सुरक्षा संचालनों के उस प्रत्‍येक पहलू के विषय में विचार-विर्मश करने के मंच के रूप में कार्य कर रही है जिसमें असैन्‍य जनसंख्‍या की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए काल्‍पनिक राजनैतिक दलों के साथ महत्‍वपूर्ण निर्णय लेने तथा युद्धरत दलों के बीच मध्‍यस्‍थता के लिए प्रक्रियाओं का अनुकरण शामिल है।

30 जुलाई से 2 अगस्‍त तक काठमांडू में आयोजित सुरक्षा संचालनों में सेना पर लागू नियमों पर आधारित रीजनल वर्कशॉप उन संचालनकर्ताओं को एक साथ लाई जिन्‍होंने अभिकेन्द्रित परिचर्चाओं, गहन अध्‍ययन, तथा नवोन्‍मेषी रोकथामपरक दृष्टिकोण लागू करने का अवसर प्रदान करने वाली महत्‍वपूर्ण निर्णय लेने, विस्‍तार पद्धतियों की फिर से जांच तथा सामयिक मसलों पर अंत:- ICRC पारस्‍परिकता के प्रोत्‍साहन में सहभागिता की थी। इस वर्कशॉप का पहली बार आयोजन पिछले साल बैंकॉक में हुआ था।

एक प्रस्‍तुतिकरण के दौरान नेपाल व बांग्‍लादेश के सशस्‍त्र बलों के अधिकारी।

नेपाल सरकार के रक्षा सचिव, बिष्‍णु प्रसाद लैम्‍सल ने इस वर्कशॉप का शुभरंभ किया था। उन्‍होंने कार्यक्रम के महत्‍व पर जोर दिया तथा नेपाल सरकार की ICRC द्वारा आयोजित किए जाने वाले कार्यक्रमों की मेजबानी करने की प्रतिबद्धता दोहराई। नेपाल में ICRC मिशन के प्रमुख आन्‍द्रे पैक्‍वेट ने इस वर्कशॉप द्वारा सहभागियों को अंतर्राष्‍ट्रीय मानवतावादी कानून व मानवाधिकार कानून तथा सर्वश्रेष्‍ठ कार्यप्रणालियों के आदान-प्रदान से संबंधित जानकारी साझा करने के लिए प्रदान किए जाने वाले अवसर को रेखांकित किया। इस वर्कशॉप में बांग्‍लादेश, भारत, मालदीव्‍ज़, म्‍यांमार, नेपाल, पाकिस्‍तान तथा श्रीलंका के 17 अधिकारियों व छ: पर्यवेक्षकों सहित ICRC के चार प्रशिक्षक भी शामिल हुए।

नेपाल के लेफ्टिनेंट कर्नल उत्‍तम सपकोटा ने कार्यक्रम की सराहना करते हुए कहा, ‘मेरी दो दशक की सैन्‍य सेवा में, यह वर्कशॉप एक जादू की तरह आई है और इसने एक ऐसी प्रशंसनीय छाप छोड़ी है जिसे मैं अपने पूरे कॅरियर तथा उससे इतर भी याद रखूंगा। मैं यहां सुझाए गए विचारों तथा जानकारी को साझा करने में कोई संकोच नहीं करूंगा।’

पुलिस स्‍टॉफ कॉलेज, बांग्‍लादेश के उप-निदेशक, शहीद अक़बर का मानना है कि वर्कशॉप में प्राप्‍त जानकारी अधिकारियों के पेशेवर कॅरियर को कानून के बेहतर क्रियान्‍वयन तथा सर्वश्रेष्‍ठ कार्यप्रणालियों के माध्‍यम से बहुत लाभान्वित करेगी। उन्‍होंने कहा, ‘इसने हमें दक्षिण एशिया के विभिन्‍न देशों के अधिकारियों के साथ परस्‍पर बात-चीत तथा अतिमहत्‍वपूर्ण सुरक्षा मामलों पर आधारित ज्ञान का आदान-प्रदान का मौका दिया है।’

ICRC के इस्‍लामाबाद व काठमांडू के प्रतिनिधि कोन्‍स्‍टेंशिनोस मोर्टोपोउलोस एक सत्र का संचालन करते हुए।